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लेप्रोस्कोपी वर्कशॉप में हुई मरीज की लाइव सर्जरी

इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के सहयोग से माश हॉस्पिटल ने आयोजित की लाइव 3डी लेप्रोस्कोपी वर्कशॉप

नई दिल्ली (टेलीस्कोप टुडे संवाददाता)। इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के साथ मिलकर, दिल्ली के माश (मिनिमल एक्सेस स्मार्ट सर्जरी हॉस्पिटल) ने एक क्रांतिकारी तकनीक पर वर्कशॉप आयोजित की। यह वर्कशॉप लाइव 3डी लेप्रोस्कोपी पर केंद्रित रही, जो सर्जिकल तकनीकों में क्रांतिकारी बदलाव लाने की क्षमता रखती है। इस दौरान प्रतिभागियों के सामने  मरीज की लाइव सर्जरी कर डॉक्टरों ने 3डी लेप्रोस्कोपी के प्रत्यक्ष लाभ प्रदर्शित किए।

माश अस्पताल में आयोजित वर्कशॉप में सर्जरी की नई तकनीक “लाइव 3डी लेप्रोस्कोपिक कोलेसिस्टेक्टोमी”  पर प्रकाश डाला गया। यह तकनीक पित्ताशय की थैली को हटाने का एक क्रांतिकारी तरीका है, जो पारंपरिक तरीकों की तुलना में बहुत बेहतर है। लैप्रोस्कोपी में 3डी तकनीक क्रांतिकारी बदलाव ला रही है। पहले, डॉक्टर 2डी स्क्रीन पर देखकर ऑपरेशन करते थे, जिससे गहराई समझने में मुश्किल होती थी। लेकिन अब 3डी तकनीक से डॉक्टर ऑपरेशन के दौरान अंदरूनी अंगों को 3डी में देख सकते हैं, जिससे उन्हें चीर-फाड़ कम करने और ज़्यादा सटीकता से ऑपरेशन करने में मदद मिलती है। 3डी लैप्रोस्कोपी से जटिलताओं में भी 90% तक कमी आ जाती है, जो कि मरीज़ों के लिए काफी लाभदायक है।

माश अस्पताल में मिनिमल एक्सेस सर्जरी के डायरेक्टर और मेडिकल डायरेक्टर डॉ. सचिन अंबेकर ने बताया, “3डी लैप्रोस्कोपी के सबसे उल्लेखनीय फायदों में से एक एनेस्थीसिया का कम इस्तेमाल है। 20-30 मिनट तक एनेस्थीसिया के प्रभाव के बाद, मरीज जल्दी ठीक हो जाते हैं और ऑपरेशन के बाद होने वाली परेशानी भी कम होती है। नतीजतन, वे सामान्य जीवन में जल्दी लौट सकते हैं। इसके अलावा, 3डी लैप्रोस्कोपी के कारण ऑपरेशन जल्दी और आसानी से हो जाता है, जिससे मरीजों को उसी दिन घर जाने की अनुमति मिल जाती है। यह सर्जिकल अनुभव को एक सुविधाजनक डे केयर सर्जरी में बदल देता है।”

मरीज की बिना किसी अतिरिक्त खर्च के 3डी लैप्रोस्कोपी करवाई जा सकती है, जो एक अत्याधुनिक प्रक्रिया है। वहीं रोबोटिक सर्जरी बहुत प्रसिद्ध है, लेकिन यह बहुत महंगी है और इसमें ऑपरेशन का समय भी ज्यादा लगता है। 3डी लैप्रोस्कोपी में समान परिणाम मिलते हैं, लेकिन यह सस्ती है और इसमें ऑपरेशन का समय भी कम लगता है। रोबोटिक सर्जरी में 3-4 घंटे लगते हैं, जबकि 3डी लैप्रोस्कोपी में केवल 30 मिनट लगते हैं। यह 3डी लैप्रोस्कोपी को बहुत ही कुशल और प्रभावी बनाता है।

माश के एक्जीक्यूटिव डायरेक्टर हनीश बंसल ने कहा, “एमएएसएसएच की लाइव 3डी लेप्रोस्कोपी कार्यशाला सर्जरी में नई-नई तकनीकों और बेहतरीन प्रगति को दिखाती है। एमएएसएसएच आधुनिक तकनीक और चिकित्सा संगठनों के साथ मिलकर मरीजों का इलाज और सर्जरी को बेहतर बनाने का काम कर रहा है।”