दिल्ली (टेलीस्कोप टुडे संवाददाता)। भारत और पाकिस्तान के बीच गोलीबारी और सैन्य कार्रवाई रोकने के लिए दोनों देशों के बीच सीधे तौर पर बातचीत हुई। शनिवार दोपहर पाक DGMO ने बातचीत की पहल की, जिसके बाद चर्चा हुई और सहमति बनी।

विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने कहा, “पाकिस्तान के सैन्य संचालन महानिदेशक (DGMO) ने आज दोपहर 15:35 बजे भारतीय DGMO को फोन किया। उनके बीच सहमति बनी कि दोनों पक्ष भारतीय मानक समयानुसार 17:00 बजे से जमीन, हवा और समुद्र में सभी तरह की गोलीबारी और सैन्य कार्रवाई बंद कर देंगे। आज दोनों पक्षों को इस सहमति को लागू करने के निर्देश दिए गए हैं। सैन्य संचालन महानिदेशक 12 मई को 12:00 बजे फिर से बात करेंगे।”

कर्नल सोफिया कुरैशी ने कहा, “पाकिस्तान ने दावा किया कि उसने अपने JF 17 से हमारे S400 और ब्रह्मोस मिसाइल बेस को नुकसान पहुंचाया, जो पूरी तरह से गलत है। दूसरे, उसने एक गलत सूचना अभियान भी चलाया कि सिरसा, जम्मू, पठानकोट, भटिंडा, नलिया और भुज में हमारे हवाई अड्डों को नुकसान पहुंचाया गया, उसकी यह दावा भी पूरी तरह से गलत है। तीसरे, पाकिस्तान के गलत सूचना अभियान के अनुसार, चंडीगढ़ और व्यास में हमारे गोला-बारूद डिपो को नुकसान पहुंचाया गया, यह भी पूरी तरह से गलत है। पाकिस्तान ने झूठे आरोप लगाए कि भारतीय सेना ने मस्जिदों को नुकसान पहुंचाया। मैं यह स्पष्ट करना चाहती हूं कि भारत एक धर्मनिरपेक्ष राष्ट्र है और हमारी सेना भारत के संवैधानिक मूल्य का एक बहुत ही सुंदर प्रतिबिंब है।”

विंग कमांडर व्योमिका सिंह ने कहा, “हमारे अभियान विशेष रूप से भारत विरोधी गतिविधियों के लिए इस्तेमाल किए जा रहे आतंकवादी ठिकानों पर लक्षित रहे। भारतीय सशस्त्र बलों द्वारा किसी भी धार्मिक स्थल को निशाना नहीं बनाया गया है।”
विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर ने ट्वीट करते हुए लिखा, “भारत और पाकिस्तान के बीच आज गोलीबारी और सैन्य कार्रवाई रोकने पर सहमति बनी है। भारत ने सभी रूपों और अभिव्यक्तियों में आतंकवाद के खिलाफ लगातार दृढ़ और अडिग रुख बनाए रखा है। भारत ऐसा करना जारी रखेगा।”
भारत और पाकिस्तान के बीच सीजफायर की घोषणा पर जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने कहा, “भारत सरकार के प्रवक्ता की तरफ से भारत और पाकिस्तान के बीच सीजफायर का ऐलान हुआ, मैं इसका स्वागत करता हूं। अगर 2-3 दिन पहले ये हुआ होता तो हमने जो कीमती जानें गवाई वो नहीं होता। अब जम्मू-कश्मीर सरकार की जिम्मेदारी बनती है कि जहां-जहां नुकसान हुआ है उसका मुआयना करें और लोगों को राहत पहुंचाना शुरू करें। जिनकी जान गई है हम उनके परिवार के गम में शरीक होकर उन्हें राहत पहुंचाने की कोशिश करेंगे।”
जम्मू-कश्मीर के पूर्व DGP शेष पॉल वैद ने भारत पाकिस्तान संघर्षविराम समझौते पर कहा, “मुझे लगता है कि भारत ने शर्त रखी है कि पाकिस्तान आतंकवाद बंद करेगा, इसलिए भारत ने कहा कि आतंकवाद की कोई भी कार्रवाई युद्ध की कार्रवाई होगी। संघर्ष विराम का स्वागत है। भारत कभी किसी देश के खिलाफ आक्रामक तरीके से काम नहीं करता, हमारी नीति बहुत स्पष्ट है। हम विश्व की चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन गए हैं, हमारी दौड़ तीसरी, दूसरी, पहली अर्थव्यवस्था बनने की है। हम युद्ध, आतंकवाद में विश्वास नहीं करते।”
वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने भारत पाकिस्तान संघर्षविराम समझौते पर कहा, “हम इसका स्वागत करते हैं। संघर्ष विराम होना चाहिए था क्योंकि जो आम आदमी मासूम लोग हैं वही मारे जाते हैं लेकिन पाकिस्तान को समझना चाहिए कि इसकी वजह क्या थी, हमारे 26 नागरिकों को बेरहमी से मारा गया। संघर्षविराम हुआ अच्छी बात है लेकिन आगे से ऐसी घटना नहीं होनी चाहिए।”
कर्नाटक सरकार के मंत्री प्रियांक खरगे ने भारत पाकिस्तान संघर्षविराम समझौते पर कहा, “हमने पहले भी स्पष्ट रूप से कहा है कि भारत सरकार देश की ओर से जो भी निर्णायक निर्णय लेगी, हम उसका पालन करेंगे। हम उसका पूरा समर्थन करेंगे… आतंकवाद किसी धर्म या युद्ध विराम को नहीं समझता है, आतंकवाद का मुकाबला करने के लिए हमें एक राष्ट्र के रूप में तैयारी रखनी चाहिए।”

उत्तर प्रदेश आदर्श व्यापार मंडल के प्रदेश अध्यक्ष संजय गुप्ता ने कहा कि भारत और पाकिस्तान द्वारा युद्ध विराम का निर्णय दोनों ही देशों के हितों के लिए उचित कदम है। विशेष रूप से पाकिस्तान के लिए ये सुखद अवसर है। अब पाकिस्तान को आतंकवाद के रास्ते से हटकर मानवता व प्रगति के रास्ते पर चलना चाहिए, ताकि पाकिस्तान की जनता आराम से रह सके तथा पड़ोसी देश भी शांति से रह सके। पाकिस्तान को अपनी जनता के हितों के लिए कार्य करना चाहिये तथा पड़ोसी देशों को भी अनावश्यक परेशान नहीं करना चाहिए। पिछले दिनों भारत की सेना एवं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में विश्व को दिखा दिया कि वर्तमान भारत कुछ भी करने में सक्षम है।