अकादमिक वातावरण खराब करने वाले विद्यार्थियों से सख्ती से निपटा जाएगा
कुलसचिव डॉ. धरवेश कठेरिया ने पत्रकार वार्ता में दी जानकारी
वर्धा (टेलीस्कोप टुडे डेस्क)। महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय के कुलसचिव डॉ. धरवेश कठेरिया ने गुरुवार को महादेवी वर्मा सभागार में ‘अकादमिक उत्थान और वर्तमान परिदृश्य’ विषय पर पत्रकार वार्ता को संबोधित करते हुए कहा कि विश्वविद्यालय अकादमिक गतिविधियों के साथ निरंतर आगे बढ़ रहा है। पिछले दिनों भारत सरकार का महत्वाकांक्षी अभियान विकसित भारत@2047, अयोध्या में राम लला की प्राण प्रतिष्ठा के अवसर पर दीपोत्सव जैसे कार्यक्रम आयोजित किए गये। विश्वविद्यालय में स्वामी विवेकानंद की 108 फिट की प्रतिमा स्थापित करने का मानस है जिससे वर्धा का पर्यटन बढेगा और विश्वविद्यालय से देश और दुनिया में सकारात्मक संदेश जाएगा।
विश्वविद्यालय में 26 जनवरी से विद्यार्थियों द्वारा विश्वविद्यालय का वातावरण खराब किए जाने की घटनाओं को लेकर उन्होंने कहा कि कुछ छात्रों द्वारा लगातार विश्वविद्यालय के खिलाफ सोशल मीडिया पर भ्रामक खबरे फैलाकर अराजकता, अंशाति और भय का वातावण बनाया जा रहा है। बुधवार की रात हुई घटना को लेकर उनका कहना था की कुछ छात्र जबरन विश्वविद्यालय के मुख्य द्वार से प्रवेश कर रहे थे जिन्हें रोकने पर सुरक्षा कर्मियों पर पथराव किया गया जिसमें एक सुरक्षा कर्मी के आँख पर पत्थर लगा। उसे 06 टाँके लगाने पड़े। इस घटना में अन्य सुरक्षा कर्मी जख्मी हुए। उन्होंने कहा कि हम पढ़ने-लिखने वाले किसी भी छात्र का नुकसान नहीं होने देना चाहते। ऐसे छात्रों के लिए सभी आवश्यक सुविधाएं मुहैया करायी जा रही हैं।
सत्र 2023-24 में अध्ययनरत ऐसे 139 विद्यार्थी जिन्होंने अभी तक कक्षा में उपस्थिति दर्ज नहीं की है उन्हें फरवरी 2024 में आयोजित परीक्षा में सम्मिलित होने की अनुमति नहीं दी जा रही है। इनमें से बड़ी संख्या में ऐसे विद्यार्थी हैं जिन्होंने प्रवेश लेने पर अपना प्रवेश निरस्त नहीं किया है। उनका कहना था कि विश्वविद्यालय में विदेशी विद्यार्थी भी पढ़ाई करते हैं। उनकी हर संभव सुरक्षा करना विश्वविद्यालया का दायित्व है। उन्होंने कहा कि गांधी, विनोबा और डॉ. अंबेडकर के विचारों पर चलने वाले वर्धा शहर व विश्वविद्यालय का माहौल खराब करने वाले चुनिंदा विद्यार्थियों को बरदास्त नहीं किया जाएगा और उनसे सख्ती से निपटा जाएगा। इस अवसर पर 26 और 27 जनवरी की घटनाओं के विडियों दिखाए गये जिसमें कुछ विद्यार्थियों ने गणतंत्र दिवस पर काले कपड़े दिखाए और 27 तारीख को विश्वविद्यालय के अध्यापक तथा सुरक्षा कर्मियों के साथ धक्का-मुक्की की गयी।