लखनऊ (टेलीस्कोप टुडे संवाददाता)। सीएसआईआर-केंद्रीय औषधीय एवं सगंध पौधा संस्थान में 30-31 जनवरी को दो दिवसीय किसान मेला-2025 का आयोजन किया जाएगा। इसमें देश के विभिन्न राज्यों जैसे उत्तर प्रदेश, बिहार, पंजाब, हरियाणा, मध्य प्रदेश, गुजरात, राजस्थान, झारखंड, छत्तीसगढ़, तमिलनाडु आदि से लगभग 4000 से 5000 किसानों और उद्यमियों के भाग लेने की उम्मीद है।
दो दिवसीय किसान मेले के कार्यक्रम में औषधीय एवं सुगंधित पौधों की उन्नत खेती एवं बाजार, वैज्ञानिक-उद्योग-किसान संवाद, उन्नत पौध सामग्री की बिक्री एवं महत्वपूर्ण औषधीय एवं सुगंधित पौधों का प्रकाशन, उन्नत पौध सामग्री एवं सीमैप उत्पादों का प्रदर्शन, आधुनिक आसवन इकाई/प्रसंस्करण का सजीव प्रदर्शन, पुष्प एवं सुगंधित फसल अपशिष्ट से अगरबत्ती, गुलाब जल एवं कटलरी बनाने का प्रशिक्षण, औषधीय एवं सुगंधित पौधों पर आधारित टिकाऊ कृषि फसलों का प्रदर्शन, परंपरागत फसल प्रणाली में औषधीय एवं सुगंधित पौधों का समावेश तथा सीएसआईआर संस्थानों द्वारा विकसित किसानोन्मुखी प्रौद्योगिकियों का प्रदर्शन किया जाएगा।
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30 जनवरी को मेले के उद्घाटन सत्र में बतौर मुख्य अतिथि डॉ. विजय बहादुर द्विवेदी (निदेशक, उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण विभाग, उत्तर प्रदेश), विशिष्ठ अतिथि डा. जीएन सिंह, (सलाहकार मुख्यमंत्री, उत्तर प्रदेश सरकार) शामिल होंगे। जबकि 31 जनवरी को बतौर मुख्य अतिथि डॉ. अनिल कुमार जोशी (पद्म भूषण और पद्मश्री पर्यावरणविद् और संस्थापक, हिमालयन पर्यावरण अध्ययन और संरक्षण संगठन, देहरादून, उत्तराखंड) और विशिष्ट अतिथि डॉ. अजीत कुमार शासनी (निदेशक, सीएसआईआर-राष्ट्रीय वनस्पति अनुसंधान संस्थान, लखनऊ) मौजूद रहेंगे। इस मेले में सीआईएमएपी कैलेंडर, ऑस-ज्ञान पत्रिका, मेंथा फसल में एकीकृत कीट प्रबंधन बुलेटिन, वर्मी-कम्पोस्ट बुलेटिन आदि का विमोचन किया जाएगा।
मेले में सीएसआईआर-राष्ट्रीय वनस्पति अनुसंधान संस्थान, लखनऊ, सीएसआईआर-भारतीय विष विज्ञान अनुसंधान संस्थान, लखनऊ, सीएसआईआर-हिमालय जैवसंपदा प्रौद्योगिकी संस्थान, पालमपुर, सीएसआईआर-केंद्रीय औषधि अनुसंधान संस्थान, लखनऊ, सीएसआईआर-केंद्रीय खाद्य प्रौद्योगिकी अनुसंधान संस्थान, लखनऊ केंद्र, सीएसआईआर-केंद्रीय कोशिकीय आणविक जीवविज्ञान केंद्र, सीमैप- हेलीऑन, आईसीएआर-भारतीय गन्ना अनुसंधान संस्थान, आईसीएआर-केंद्रीय उपोष्ण बागवानी संस्थान, लखनऊ, आईसीएआर-केंद्रीय मृदा लवणता अनुसंधान संस्थान, लखनऊ, उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण विभाग, लखनऊ, उत्तर प्रदेश राज्य औषधीय पादप बोर्ड, लखनऊ, कृषि विज्ञान केंद्र उन्नाव और कृषि विज्ञान केंद्र सीतापुर आदि विभिन्न संस्थानों के स्टॉल लगाए जाएंगे।
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जारी की जाने वाली किस्में
सिम-सरस्वती : ओसीमम (तुलसी) की एक उच्च उपज देने वाली किस्म
विशेषताएँ
• लिनालूल से भरपूर अंतर-विशिष्ट ओसीमम एम्फीडिप्लोइड संकर किस्म
• बारहमासी विकास की आदत और
• ठंड सहनशील
• पत्तियों में औषधीय रूप से मूल्यवान सूक्ष्म-मेटाबोलाइट्स होते हैं; रुटिन = 0.034 मिलीग्राम और गैलिक एसिड = 0.125 मिलीग्राम / ग्राम ताजा वजन।
• मानक मिंट-ओसीमम रिले फसल प्रणाली के साथ-साथ एकल फसल में भी फिट हो सकता है
योगदानकर्ता : डॉ. उमेश चंद्र लवानिया और टीम
सिम-संगम: गुलाब सुगंधित जेरेनियम की एक उच्च उपज देने वाली किस्म
विशेषताएँ
• भारत के उत्तरी मैदानों के लिए विकसित
• गेरियम का सोमाक्लोनल वैरिएंट
• फंगल संक्रमण के प्रति सहनशीलता, विशेष रूप से बरसात के मौसम में
• एक कटाई में 60-65 किलोग्राम/हेक्टेयर तेल की उपज और दो कटाई में 95-100 किलोग्राम/हेक्टेयर
योगदानकर्ता : डॉ. लईक उर रहमान और टीम