लखनऊ (टेलीस्कोप टुडे संवाददाता)। जयपुरिया इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट ने बिजनेस एनालिटिक्स और डिसीजन साइंसेज कॉन्क्लेव की मेजबानी की। इस कार्यक्रम की थीम “विश्लेषण (एनालिटिक्स) के माध्यम से चपलता (ऐजिलिटी): एक गतिशील बाजार में परिचालन लचीलापन बढ़ाना” थी। जिसने आज के तेज-तर्रार बाजारों में नेविगेट करने में उन्नत संचालन और विश्लेषण की परिवर्तनकारी शक्ति पर प्रकाश डाला।
आदित्य विक्रम कपूर (DTDC), आदित्य बनर्जी (बेहेरींगेर इंगेलहं) और सुदीप्ता चौधरी (AiQMEN) जैसे प्रतिष्ठित उद्योग नेतृत्वकर्ताओं ने कॉन्क्लेव के दौरान विभिन्न पहलुओं पर अंतर्दृष्टि साझा की। विषय पर विचारों, इंटरैक्टिव सत्रों और विशेषज्ञ प्रस्तुतियों के साथ, इस कॉन्क्लेव ने विश्लेषण के माध्यम से परिचालन उत्कृष्टता के लिए एक रोडमैप प्रस्तुत किया।
इस कार्यक्रम में आज के अस्थिर बाजार में परिचालन चपलता और लचीलापन बढ़ाने में उन्नत विश्लेषण, पूर्वानुमानित अंतर्दृष्टि और वास्तविक समय के डेटा की महत्वपूर्ण भूमिका को रेखांकित किया गया। चर्चाओं में इस बात पर प्रकाश डाला गया कि संगठन व्यवधानों (आर्गेनाइजेशन डिसरप्शन्स) का सटीक अनुमान लगाने, अवसरों की पहचान करने और तेजी से बदलती वैश्विक मांगों के अनुकूल ढलने के लिए मशीन लर्निंग और एआई का लाभ कैसे उठा सकते हैं।
विशेषज्ञों ने विकेंद्रीकृत (डीसेंट्रलाइज़्ड) डेटा सिस्टम और प्रतिभा अंतराल (टैलेंट गैप) जैसी चुनौतियों को संबोधित किया, मजबूत डेटा एकीकरण और कुशल पेशेवरों की आवश्यकता पर जोर दिया। कॉन्क्लेव ने निष्कर्ष निकाला कि एनालिटिक्स को एक रणनीतिक सक्षमकर्ता के रूप में अपनाने वाली कंपनियां अनिश्चितताओं को दूर करने, परिचालन उत्कृष्टता प्राप्त करने और सतत विकास को आगे बढ़ाने के लिए बेहतर ढंग से सुसज्जित होती हैं ।