लखनऊ (टेलीस्कोप टुडे संवाददाता)। 14वें एजुकेशनल लीडरशिप कार्यक्रम के अंतर्गत आयोजित पहले ग्लोबल लर्निंग लैब सम्मेलन के दूसरे दिन मंगलवार को हिमाचल प्रदेश के 57 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल ने शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर के नेतृत्व में भाग लिया। हिमाचल प्रदेश ALfA (Accelerated Learning for All) पद्धति को लागू करने वाले पहले राज्यों में से एक है। इस प्रतिनिधिमंडल ने कार्यक्रम को लागू करने के एक वर्ष के अनुभव साझा किए। 45-दिवसीय त्वरित-शिक्षण पहल की शुरुआत से छात्रों की संख्यात्मक दक्षता 6% से बढ़कर 62% तक हो गई है।
कार्यक्रम में रोहित ठाकुर ने कहा, “हिमाचल प्रदेश में राज्य के बजट का लगभग 18% शिक्षा मंत्रालय को आवंटित किया गया है। पहले ग्लोबल लर्निंग लैब का हिस्सा बनकर हमारी टीम नई शिक्षण पद्धतियों को समझने की इच्छुक है, और मुझे लगता है कि यह शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए दुनिया को एकजुट करने का एक ईमानदार प्रयास है।”
यह तीन दिवसीय सम्मेलन सिटी मॉन्टेसरी स्कूल द्वारा आयोजित किया गया है। इसका नेतृत्व डॉ. भारती गांधी और डॉ. सुनीता गांधी कर रही हैं। यह सम्मेलन शिक्षक प्रशिक्षण को सशक्त बनाने और ALfA पद्धति के लिए सहयोग बढ़ाने पर केंद्रित है। उत्तर प्रदेश के लखनऊ, उन्नाव और बाराबंकी के सरकारी स्कूलों के प्रतिनिधियों ने भी ALfA के साथ अपने अनुभव साझा किए। उन्होंने बताया कि छात्रों की साक्षरता और जुड़ाव में महत्वपूर्ण सुधार दर्ज किए गए हैं।
एआरपी हिलौली ब्लॉक के जीके मिश्रा ने साझा किया कि “155 स्कूलों में ALfA के उपयोग ने शिक्षण वातावरण को पूरी तरह बदल दिया है। इससे शिक्षा अधिक मजेदार और इंटरैक्टिव हो गई है, जिससे छात्रों और उनके माता-पिता दोनों में रुचि बढ़ी है।”
देवी संस्थान की संस्थापक डॉ. सुनीता गांधी ने कहा, “ग्लोबल लर्निंग लैब सम्मेलन निपुण पहल को समर्थन देने के लिए एक सहयोगात्मक प्रयास है। उत्तर प्रदेश में हमने 4 जिलों से शुरू किया है और लगभग 100% परिणाम प्राप्त किए हैं। नई शिक्षण विधियों को अपनाने से छात्र तेजी से शिक्षित हो सकेंगे और वर्ष के अंत में निपुण परीक्षाओं को उत्तीर्ण कर सकेंगे।”
2026-27 तक संपूर्ण बुनियादी साक्षरता और संख्यात्मकता के लिए निपुण भारत मिशन की दिशा में भारत की यात्रा को तेज करने के मिशन के साथ, यह सम्मेलन 15 भारतीय राज्यों और 7 देशों के शिक्षकों को एक साथ लाकर शिक्षा में बदलाव के लिए एक सहयोगात्मक मंच बना रहा है।
इसके साथ ही, सम्मेलन के समानांतर चल रहे सिनर्जी समिट 3.0 में टाटा स्टील फाउंडेशन, अडानी फाउंडेशन, हिंडाल्को आदित्य बिड़ला फाउंडेशन, कोटक महिंद्रा फाउंडेशन और एचसीएल टेक जैसी प्रमुख संस्थाओं के उच्च अधिकारी भी शामिल हैं। 4,000 से अधिक प्रतिभागी निपुण भारत मिशन की प्रगति को तेज़ी से आगे बढ़ाने पर चर्चा करेंगे।