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पर्यटन विभाग और होटल व्यवसायी लखनऊ में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए आए साथ

उत्तर प्रदेश में हर मौसम पर्यटन की अपार संभावनाएं हैं : दुर्गा शंकर मिश्र

‘पर्यटन विकास: संभावनाएं एवं सिद्धि’ विषय पर संवाद कार्यक्रम आयोजित

लखनऊ (टेलीस्कोप टुडे संवाददाता)। उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग के तत्वावधान में सोमवार को इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान में उत्तर प्रदेश पर्यटन पर संवाद कार्यक्रम का आयोजन हुआ। ‘पर्यटन विकास: संभावनाएं एवं सिद्धि’ विषय पर आयोजित संवाद कार्यक्रम का उद्देश्य होटल और आतिथ्य उद्योग के प्रतिनिधियों से बातचीत और सुझाव आमंत्रित करना था। बतौर मुख्य अतिथि मौजूद मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र ने कहा, ‘उत्तर प्रदेश अवसरों और संभावनाओं की भूमि है। आज हम घरेलू पर्यटन के मामले में पहले पायदान पर हैं, लेकिन इनबाउंड पर्यटन के मामले में हमें और ऊपर जाने की आवश्यकता है। सभी हितधारकों के ठोस प्रयासों से इसे आसानी से हासिल किया जा सकता है।’

मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र सहित अन्य महानुभावों द्वारा दीप प्रज्ज्वलन के साथ कार्यक्रम की शुरुआत हुई। अतिथियों को अंग वस्त्र और स्मृति चिन्ह भेंट किया गया। उत्तर प्रदेश होटल एंड रेस्टोरेंट एसोसिएशन की भी सहभागिता रही। कार्यक्रम में बौद्ध स्थलों पर आधारित फिल्म प्रस्तुति, प्रदेश में देशी और विदेशी पर्यटकों की संख्या में वृद्धि के उपायों पर चर्चा, गंगा सर्किट पर आधारित फिल्म की प्रस्तुति, पर्यटन पर आधारित फिल्म की प्रस्तुति हुई। इस दौरान प्रमुख सचिव पर्यटन ने प्रदेश में विभाग द्वारा किए जा रहे प्रयासों पर चर्चा की।  

‘पर्यटन विकास: संभावनाएं एवं सिद्धि’ विषय पर संवाद सत्र की अध्यक्षता उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र ने की। उनके साथ यूपी के पर्यटन एवं संस्कृति विभाग के प्रमुख सचिव मुकेश कुमार मेश्राम, ईशा प्रिया (विशेष सचिव, पर्यटन), प्रखर मिश्रा (निदेशक पर्यटन एवं अध्यक्ष), यूपी होटल एवं रेस्टोरेंट एसोसिएशन के प्रेसिडेंट सुरेंद्र कुमार जायसवाल रहे। उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग द्वारा आयोजित प्रोग्राम में सभी प्रमुख पर्यटन अधिकारी और हितधारक उपस्थित रहे। उन्होंने पर्यटकों की संख्या बढ़ाने के लिए राज्य के पर्यटन पारिस्थितिकी तंत्र को और उन्नत करने पर विचार-विमर्श किया।  

मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र ने कहा, ‘उत्तर प्रदेश अवसरों और संभावनाओं की भूमि है। आज हम घरेलू पर्यटन के मामले में पहले स्थान पर हैं। मगर, विदेशी पर्यटकों को आकर्षित करने के (इनबाउंड पर्यटन) मामले में हमें और ऊपर जाने की जरूरत है। उन्होंने सभी हितधारकों के ठोस प्रयासों से इसे आसानी से हासिल करने पर बल दिया। उन्होंने कहा कि दुनिया के कई छोटे गंतव्यों की तुलना में हमारे पास देने के लिए बहुत कुछ है। जब पर्यटन की बात आती है तो हम गर्व से अपनी समृद्ध संस्कृति, परंपराओं, विरासत, कला और शिल्प का लाभ उठा सकते हैं। हमारे पास 12 समर्पित पर्यटन सर्किट हैं, जिनके जरिए लक्ष्य तक आसानी से पहुंचा जा सकता है।’

उन्होंने कहा, ‘हमारे पास पर्यटन की अपार संभावनाएं हैं। हमें पर्यटकों को और अधिक तथा बेहतर विकल्प देने के लिए पहले से प्रसिद्ध पर्यटन स्थलों से चिपके रहने की बजाय यूपी के अद्वितीय स्थलों और परंपराओं को पेश करना चाहिए। समय के साथ पर्यटकों की संख्या बढ़ने पर होटल और हॉस्पिटैलिटी इंडस्ट्री को सबसे अधिक लाभ मिलेगा। इसलिए, उन्हें पर्यटन क्षेत्र के एक मजबूत स्तंभ के रूप में आगे आना चाहिए।’

उत्तर प्रदेश के प्रमुख सचिव, पर्यटन और संस्कृति, मुकेश कुमार मेश्राम ने कहा, ‘उत्तर प्रदेश की सांस्कृतिक, भौगोलिक और विरासत समृद्ध है। राज्य में पर्यटन को आकर्षित करने की अपार शक्ति है। हम पहले ही एक आकर्षक कार्यक्रमों के जरिए घरेलू पर्यटन में अपनी योग्यता साबित कर चुके हैं। इनबाउंड पर्यटन को और ऊंचाइयों तक ले जाने के लिए सभी हितधारकों को एक साथ आना होगा। विदेशी पर्यटक आम तौर पर अनुभवात्मक पर्यटन की तलाश में रहते हैं। बेहतर अनुभव मिलने पर वो बार-बार हमारे राज्य की ओर आकर्षित होंगे और अपने देश वापस जाएंगे तो हमारे ब्रांड एंबेसडर की भूमिका निभा सकते हैं।’

उन्होंने कहा कि, होटल व्यवसायी और हॉस्पिटैलिटी इंडस्ट्री समग्र रूप से पर्यटकों के लिए एक गहन अनुभवात्मक पर्यटन के निर्माण में सहयोग कर सकते हैं। वे पर्यटकों को हमारी समृद्ध संस्कृति और परंपरा के बारे में जानकारी देने के लिए स्थानीय कारीगरों, कलाकारों और व्यंजनों की मेजबानी कर सकते हैं। उन्होंने कहा, निजी-सार्वजनिक भागीदारी सभी के लिए फायदेमंद होगी। हम पहले से ही राज्य में होटलों के निर्माण और स्थापना के कार्यान्वयन की दिशा में सकारात्मक प्रयास कर रहे हैं।

विशेष सचिव, उत्तर प्रदेश पर्यटन ईशा प्रिया ने विस्तृत प्रस्तुति के माध्यम से उत्तर प्रदेश के गंतव्यों, व्यंजनों, विरासत और संस्कृति सहित राज्य के संपूर्ण पर्यटन पारिस्थितिकी तंत्र की जानकारी दी। साथ ही, ‘ब्रांड यूपी’ को दुनिया भर में प्रचारित करने के लिए आमंत्रित किया। उपस्थित होटल व्यवसायियों ने जमीनी स्तर से भी पर्यटन को ऊपर उठाने के लिए अपने इनपुट, सुझाव और प्रश्न साझा किए।

कार्यक्रम में प्रदेश के प्रमुख होटल व्यवसायियों, प्रदेश के पर्यटन उद्यमी/निवेशक, ट्रैवल एंड टूर ऑपरेटर, पर्यटन विभाग के अधिकारियों और स्थानीय आमंत्रित अतिथियों ने शिरकत की। कार्यक्रम में पर्यटन विभाग के क्षेत्रीय अधिकारी ऑनलाइन माध्यम से जुड़े।