मजदूर भी हूं मजबूर भी हूंपर हां मै मजबूत भी हूंक्यो कि मै महिला मजदूर हूंसर पर ईंटो का ढेरपीठ पर लादे दुधमुहां बच्चाअधरो पर मुस्कान लिएदिन भर मजदूरी करती हूंदो सूखी रोटी खाकर भीखुद को खुश रखती हूंकिस्मत का ताना बाना ऐसाआज यहां कल वहां गुजर करती हूंअपना भी …
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