– विश्वविद्यालय अपने संबद्ध चुनिन्दा संस्थानों में इन्क्युबेशन सेंटर्स स्थापित करने की बना रहा है योजना जहां अभी तक नहीं है सेंटर्स
– प्रमुख सचिव प्राविधिक शिक्षा की अध्यक्षता में नौ अगस्त को सम्बध संस्थानों के प्रतिनिधियों संग होगी बैठक, बनेगी इनक्यूबेटर कार्ययोजना
लखनऊ (शम्भू शरण वर्मा/टेलीस्कोप टुडे)। आत्मनिर्भर भारत के सपने को साकार करने में नवाचार और उद्यमिता की महत्वपूर्ण भूमिका है। वहीं प्रदेश सरकार हर जिले में नवाचार और उद्यमिता को बढ़ावा देने के लिए वन डिस्ट्रिक्ट, वन इन्क्युबेटर स्थापित करने की योजना चला रहा है। इस दिशा में डॉ0 एपीजे अब्दुल कलाम प्राविधिक विश्वविद्यालय के इनोवेशन हब ने पहल की है। विश्वविद्यालय से संबद्ध ऐसे संस्थानों में जहां इन्क्युबेशन सेंटर नहीं है और बनाने का आशय है वहां उसे स्थापित करने की योजना है। इसके लिए प्रमुख सचिव प्राविधिक शिक्षा की अध्यक्षता में नौ अगस्त को विश्वविद्यालय में संबद्ध संस्थानों के प्रतिनिधियों के साथ बैठक होगी। बैठक में इन्क्युबेशन सेंटर स्थापित करने की कार्ययोजना बनेगी।
स्थापना में देंगे सहयोग
विश्वविद्यालय से पूरे प्रदेश में तकनीकी संस्थान संबद्ध हैं। जहां इंजीनियरिंग सहित फॉर्मेसी, आर्किटेक्चर सहित अन्य कोर्सेस की पढ़ाई होती है। हर साल लाखों की संख्या में छात्र निकलते हैं। ऐसे में कुलपति प्रो0 जेपी पांडेय के निर्देशन में प्रदेश में इन संस्थानों के जरिये उद्यमिता और नवाचार का माहौल विकसित करने के लिए इन्क्युबेशन सेंटर स्थापित करने की पहल की जा रही है। अभी तक विश्वविद्यालय के 22 संस्थानों में इन्क्युबेशन सेंटर स्थापित हैं। जहां छात्र नवाचार और उद्यमिता के जरिये आत्मनिर्भर बन रहे हैं। वहीं जिन जिलों के संस्थानों में सेंटर नहीं हैं वहां स्थापित करने पर जोर है। इस दिशा में नौ अगस्त को प्रमुख सचिव प्राविधिक शिक्षा की अध्यक्षता में कॉलेज के प्रतिनिधियों के साथ बैठक कर सेंटर स्थापित करने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा। सेंटर की स्थापना में इनोवेशन हब संस्थानों में इन्फ्रास्ट्रक्चर, लैब स्थापना, कार्य करने की जगह और कैपिसिटी बिल्डिंग आदि में सहयोग करेगा। वहीं प्रदेश सरकार की ओर से चल रही योजनाओं और वित्तीय सहायता की जानकारी दी जाएगी। मंशा है कि इन्क्युबेशन सेंटर के जरिये दूर-दराज के भी प्रतिभाशाली लोगों को आगे बढ़ने का मौका मिल सके। बैठक के दौरान प्रमुख सचिव विद्यालय से संबंध 15 राजकीय एवं शासकीय संस्थानों में स्थापित इनक्यूबेशन सेंटर की समीक्षा भी करेंगे। इनक्यूबेशन सेंटर के मैनेजर से बात कर अब तक की हुई प्रगति पर चर्चा करेंगे।
इन जिलों के संस्थानों में नहीं है सेंटर
विश्वविद्यालय से जुड़े अलीगढ, अमेठी, अमरोहा, औरैया, अयोध्या, बदायूं, बागपत, बहराइच, बलरामपुर, बलिया, बस्ती, बुलन्दशहर, चित्रकूट, एटा, इटावा, फैजाबाद, फर्रुखाबाद, फतेहपुर, फिरोजाबाद, गाजीपुर, गोंडा, हमीरपुर, हरदोई, हाथरस, हापुड, जौनपुर, जालौन, कौशांबी, कासगंज, कुशीनगर, ललितपुर, लखीमपुरखीरी, महोबा, महाराजगंज, मऊ, मिर्जापुर, मुरादाबाद, मुजफ्फरनगर, पीलीभीत, प्रतापगढ़, रायबरेली, रामपुर, संत कबीर नगर, संतरविदास नगर, शाहजहाँपुर, शामली, श्रावस्ती, सिद्धार्थनगर, सीतापुर, उन्नाव जिलों के संस्थानों में इन्क्युबेशन सेंटर नहीं है। ऐसे में इन जिलों के कॉलेज के प्रतिनिधियों को बैठक में बुलाया गया है।