लखनऊ, टेलिस्कोप टुडे संवाददाता। उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने महिला, बाल विकास एवं पुष्टाहार विभाग, ग्राम्य विकास विभाग व राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन के अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि गांवों में आंगनवाड़ी केंद्रों के माध्यम से सभी लाभार्थियों/बच्चों को पुष्टाहार की उपलब्धता सुनिश्चित कराने के कार्य में पूरी तत्परता बरती जाए। इसके लिए स्वयं सहायता समूह द्वारा स्थापित किए गये टेक होम राशन (टीएचआर) प्लांटों के सफल संचालन हेतु प्रभावी एवं ठोस कार्य योजना बनाकर उसका क्रियान्वयन सुनिश्चित किया जाए। केशव प्रसाद मौर्य आज अपने कैंप कार्यालय सात- कालिदास मार्ग पर टीएचआर प्लांटों के कुशल संचालन के लिए आयोजित उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे।
उन्होंने बताया गया कि वर्तमान में 74 टीएचआर प्लांट चालू है और इन्हें मिलाकर 204 प्लांट लगाए/चालू किये जाने हैं। जितने भी टीएचआर प्लांट स्थापित कराए जाने अवशेष हैं, उन्हें अगस्त माह तक लगाकर चलाए जाने हेतु प्रभावी कार्य योजना बनाई जाए और उसका क्रियान्वयन सुनिश्चित किया जाए। सभी टीएचआर प्लांट क्रियाशील बनाने की सभी औपचारिकताएं ससमय पूर्ण की जाए।
उन्होंने कहा कि सभी प्लांट चालू होने से स्वयं सहायता समूह की 7 लाख से अधिक महिलाएं इस कार्य से जुड़ेंगी और उनकी आमदनी बढ़ेगी, जो महिला सशक्तिकरण के दृष्टिकोण से भी महत्वपूर्ण कदम होगा। उन्होंने प्लांटों से उत्पादित पुष्टाहार के उत्पादन एवं आपूर्ति की जानकारी लेते हुए कहा कि शिशुओं, बच्चों, गर्भवती एवं धात्री महिलाओं व कुपोषित बच्चों के लिए निर्धारित प्रतिदिन के नार्म (रेट) की बढ़ोतरी के लिए कार्ययोजना बनाकर प्रस्ताव दिया जाए और उसमें ऐसी व्यवस्था भी की जाए कि भविष्य में भी नार्म की बढ़ोतरी के लिए प्रावधान रहे। उन्होंने कहा कि बाल विकास पुष्टाहार विभाग प्लांटों हेतु एडवांस धनराशि दिए जाने की व्यवस्था हर हाल में सुनिश्चित करेगा और कार्य योजना बनाकर उसका निरन्तर अनुपालन सुनिश्चित कराया जाएगा। पुष्टाहार के उत्पादन व वितरण में विलंब ना होने पाए, इसके लिए सभी जरूरी उपाय किए जाने के उन्होंने निर्देश दिए। उन्होंने प्लांटों के संचालन में विद्युत की पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित कराने के साथ ही सोलर प्लांट लगाए जाने की भी व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए, ताकि पावर सप्लाई/लो वोल्टेज आदि की कोई समस्या न आने पाए। उन्होंने कहा कि टीएचआर प्लांटों में सोलर पावर प्लांट के लगाए जाने के लिए नयी खाद्य प्रसंस्करण उद्योग नीति – 2023 में सब्सिडी दिए जाने की भी व्यवस्था की गई है। टीएचआर प्लांटों के भुगतान में गैप नहीं रहना चाहिए। उन्होंने कहा कि पुष्टाहार वितरण हेतु राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन व बाल विकास पुष्टाहार विभाग के अधिकारी समन्वय बनाकर एक सरल व सुगम कलस्टर बनाएं ताकि आसानी से पुष्टाहार निर्धारित स्थलों पर समय से पहुंच सके। प्लांटों के संचालन में बीएमएम की भी जवाबदेही तय की जाए। प्लांटों के संचालन की गति को हर हाल में बढ़ाया जाना बहुत जरूरी है। उन्होंने निर्देश दिए कि टीएचआर प्लांटों से कितना उत्पादन हुआ, कितना वितरण हुआ, कच्चे माल की उपलब्धता क्या है और अन्य सभी बिंदुओं पर लगातार मानिटरिंग की जाए और समीक्षा रिपोर्ट नियमित रूप से उपलब्ध कराई जाए।
महिला, बाल विकास एवं पुष्टाहार मंत्री बेबी रानी मौर्य ने कहाकि प्लांट मशीनरी के सफल व निरंतर संचालन हेतु कुशल टेक्नीशियन जरूरी है। यह भी व्यवस्था सुनिश्चित की जाए कि समूहों की पढ़ी लिखी महिलाओं को इतना ट्रेंड किया जाए कि प्लांट में छोटी- मोटी कमियों को स्वयं ही दूर कर सकें। उन्होंने कहा कि जितने भी प्लांट लगे हैं उनकी मशीनरी चेक करा ली जाए। मशीनरी ठीक कराने के लिए संबंधित कंपनियों के साथ मीटिंग की जाए। इस कार्य की मानीटरिंग गहनता से होनी चाहिए।
मुख्य सचिव दुर्गाशंकर मिश्र ने कहा कि टीएचआर प्लान्टों की स्थापना, संचालन व पुष्टाहार वितरण की व्यवस्थाओं को और अधिक सुदृढ़ व मजबूत किया जाएगा और सभी जरूरी उपाय किए जाएंगे। कृषि उत्पादन आयुक्त मनोज कुमार सिंह ने कहा कि आगामी अगस्त माह तक सभी 204 टीएचआर प्लांट स्थापित कराकर क्रियाशील करा दिए जाएंगे।
बैठक में प्रमुख सचिव ग्राम्य विकास हिमांशु कुमार, प्रमुख सचिव समाज कल्याण डा. हरिओम, ग्रामीण आजीविका मिशन की मिशन निदेशक सी. इंदुमती, बाल विकास एवं विभाग की निदेशक, विशेष सचिव सुखलाल भारती, उपायुक्त ग्राम्य विकास विभाग अखिलेश सिंह सहित अन्य अधिकारी प्रमुख रूप से मौजूद रहे।