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मुख्यमंत्री कमांड सेंटर व डैशबोर्ड से यूपी वालों को मिला सुशासन का उपहार

सीएम योगी की दूरदर्शी सोच से यूपी के 24 करोड़ लोगों की सुविधाओं पर रहेगी नजर 

पुलिस-प्रशासन, नगर निगम, विकास प्राधिकरण, विश्वविद्यालयों की परफॉर्मेंस के आधार पर प्रतिमाह तय होगी रैंकिंग 

सबका प्रयास, सबका साथ से सत्तासीन हुए योगी ने किया सबका विकास, जीत चुके विश्वास

53 विभागों की 588 योजनाएं व स्कीम हैं पंजीकृत

लखनऊ (टेलीस्कोप टुडे संवाददाता)। मुख्यमंत्री कमांड सेंटर व सीएम डैशबोर्ड से योगी आदित्यनाथ ने यूपी वालों को सुशासन का उपहार दे दिया। आमजन की समस्याओं का समयबद्ध निस्तारण और सरकार की योजनाओं का बेहतर ढंग से लाभ देने में यह काफी कारगर होगा। सीएम योगी की दूरदर्शी सोच से यूपी के 24 करोड़ लोगों की सुविधाओं पर ‘सरकार’ की नजर रहेगी। वहीं पुलिस-प्रशासन के आलाधिकारियों, नगर निगम, विकास प्राधिकरण, विश्वविद्यालयों की परफॉर्मेंस व सरकार के विभिन्न योजनाओं के प्रदर्शन के अनुसार मासिक रैंकिंग व ग्रेडिंग भी की जाएगी। सीएम डैशबोर्ड की मदद से रियल टाइम मॉनीटरिंग की जाएगी। सबका प्रयास, सबका साथ पाने वाले मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ अब यूपी के हर नागरिक का विकास कर उनका विश्वास जीत चुके हैं। सीएम योगी के प्रति आमजन के विश्वास में यह योजना भी महत्वपूर्ण कदम निभाएगी।

जनसामान्य को डिजिटल टेक्नोलॉजी से जोड़ा गया

डिजिटल इंडिया अभियान ने जनकल्याणकारी योजनाओं की समयबद्ध प्रभावी मॉनीटरिंग सुनिश्चित करके जनसामान्य को डिजिटल टेक्नोलॉजी से जोड़ा है। पहली बार तकनीक आधारित गुड गवर्नेंस के आधार पर शासन की सभी योजनाओं का संचालन किया जा रहा है, जिससे लाभार्थियों को योजनाओं का शत-प्रतिशत लाभ मिल रहा है। सीएम योगी का मानना है कि टेक्नोलॉजी का उपयोग योजनाओं के क्रियान्वयन को अधिक गति देता है। इसी विजन के अनुरूप विश्व स्तरीय सुविधा से लैस मुख्यमंत्री कमांड सेंटर में एकीकृत डैशबोर्ड, वीडियो वॉल, वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग सुविधा, कॉल सेंटर, डिस्कशन, प्रशिक्षण व तकनीकी कक्ष स्थापित किए गए हैं। यहां सीएम डैशबोर्ड का संचालन किया जाएगा,  जिसके माध्यम से विभागीय सेवाओं, योजनाओं व कार्यक्रम की विभिन्न स्तर पर मॉनीटरिंग सुनिश्चित होगी। वर्तमान में 53 विभागों की 588 योजनाएं व स्कीम पंजीकृत हैं। सीएम डैशबोर्ड पर विभागों से प्राप्त सूचना पर मानकीकरण करते हुए परफॉर्मेंस इंडेक्स विकसित किया गया है। जिसके आधार पर प्रतिमाह राज्य स्तरीय ग्रेडिंग जारी की जाएगी। विभागीय डेटा की गुणवत्ता सुनिश्चित करने के लिए डेटा क्वॉलिटी इंडेक्स विकसित किया गया है। इसका भी मासिक मूल्यांकन भी प्रदर्शित होगा। 

परफॉर्मेंस के आधार पर प्रतिमाह की जाएगी रैंकिंग

मंडलायुक्त, डीएम की रैंकिंग व ग्रेडिंग के लिए 106 फ्लैगशिप प्रोजेक्ट चिह्नित किए गए हैं। इसके अलावा पुलिस कमिश्नर, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक, पुलिस अधीक्षक, नगर निगम, विकास प्राधिकरण व विश्वविद्यालय की रैंकिंग भी परफॉर्मेंस के आधार पर प्रतिमाह की जाएगी। डेटा एनालिसिस व डेटा मॉनीटरिंग के लिए विशेषज्ञों की टीमें तैनात की गई हैं, जो प्रत्येक विभाग व जनपद की परफॉर्मेंस पर पैनी नजर रखेगी। सीएम डैशबोर्ड पर टॉप व बॉटम परफॉर्मर विभाग और जनपद प्रदर्शित किए जाएंगे। बॉटम परफॉर्मर वाले विभागों व जनपदों के प्रदर्शन में सुधार के लिए आवश्यक कार्यवाही की जाएगी। मुख्यमंत्री कमांड सेंटर व सीएम डैशबोर्ड मुख्यमंत्री कार्यालय की देखरेख में यह फ्लैगशिप योजनाओं के प्रभावी क्रियान्वयन, मॉनीटरिंग व परफॉर्मेंस ग्रेडिंग और फीडबैक में उपयोगी भूमिका निभाएगा।